उधार की कलम से....!
- उधार की कलम से...✍️
अंदाज-ए-समंदर लिखें
या तुम्हें अपने अंदर लिखें,
हर घड़ी तेरी फिक्र करे
या तुझे कलंदर लिखें...?
तुम ही बताओ....!
कैसे-कैसे शब्दों से हम तुम्हें नवाजे,
या फिर तुझे अंदाज-ए-बवंडर लिखे...?
- कवि ऋषि कपूर भारती
अंदाज-ए-समंदर लिखें
या तुम्हें अपने अंदर लिखें,
हर घड़ी तेरी फिक्र करे
या तुझे कलंदर लिखें...?
तुम ही बताओ....!
कैसे-कैसे शब्दों से हम तुम्हें नवाजे,
या फिर तुझे अंदाज-ए-बवंडर लिखे...?
- कवि ऋषि कपूर भारती
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